रांची। एनएसयूआइ का एक प्रतिनिधिमंडल गुरुवार काे केंद्रीय विश्वविद्यालय झारखंड के डीएसडब्लू डॉ. अनुराग लिंडा का घेराव किया। प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व करते हुए राज्य उपाध्यक्ष अमन अहमद ने कहा एक दिन पूर्व छात्र-छात्राओं के रात के खाने में मरा हुआ चूहा मिला। ये कोई नई बात नहीं है। यहां पूर्व भी ऐसा हो चुका है। खाने की खराब क्वालिटी और एक्सपायरी डेट वाला मसाला देने के कारण 20 से अधिक छात्रों की तबीयत बिगड़ गई, जिनमें से कई को उल्टियां हुईं। गंभीर स्थिति में दो छात्रों का रिम्स में इलाज चल रहा है, जबकि बाकी की हालत सामान्य है। घटना के बाद छात्रों ने वार्डन एवं विवि के उच्च पदाधिकारियों से संपर्क करने की कोशिश की लेकिन उनका फोन स्विच ऑफ था। गुस्साए छात्रों ने एडमिन बिल्डिंग के पास धरना दिया। मास कम्युनिकेशन और साइंस विभाग के छात्रों का कहना है कि खाने का 3 माह का पैसा एडवांस देना होता है एवं 2600 रुपये हर महीने देने के बावजूद खराब खाना परोसा जा रहा है। 50 घंटे हो गए हैं, अभी तक विवि प्रशासन द्वारा जांच कमिटी का गठन नहीं किया गया है। विवि प्रशासन कहती है कि मेडिकल रिपोर्ट आने के बाद जांच कमिटी बनाई जाएगी। मामले में लिपापोती की जा रही है।
संगठन द्वारा मांग की गई
- मेस केे चयन हेतु रि-टेंडर किया जाए।
- सिक्युरिटी सुपरवाइजर को हटाया जाए।
- जांच कर दोषियों पर कड़ी कार्रवाई की जाए।
- मेस इंचार्ज एवंं स्टाफ को अविलंब हटाया जाए।
- छात्र-छात्राओं के जान के साथ खिलवाड़ नहीं किया जाए।
सीयूजे के डीएसडब्ल्यू डॉ. अनुराग लिंडा ने कहा शीघ्र विशेष जांच कमिटी का गठन करके 3 दिन के भीतर जांच रिपोर्ट सौंपने के लिए समय दिया जाएगा और जांच रिपोर्ट आने के उपरांत दोषी के ऊपर कठोर करवाई की जाएगी। किसी को बख्शा नहीं जाएग। विश्वविद्यालय छात्र छात्राओं को लेकर काफी गंभीर है। मौके पर आर्यन कुमार, गुलशन सिंह, अनिकेत टोप्पो, जुल्फान अंसारी आदि उपस्थित थे।